Friday, August 23, 2024

चुप्पी

इन बंद होठों की चुप भरी हड़ताली न दे
 ए दोस्त ताली ना सही ..एक गाली ही दे 
 टकराने से ही आवाज होती है
 कभी सोज़ तो कभी साज़ होती है

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